मध्य प्रदेश की लाड़ली बहन योजना के तहत आज पूरे प्रदेश की 1.26 करोड़ महिलाओं के लिए खास दिन रहा। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने खुद राज्य की जरूरतमंद बहनों के बैंक खातों में सीधे राशि ट्रांसफर करने की घोषणा की। इस ऐतिहासिक कदम के जरिए सरकार ने पूरी पारदर्शिता और तत्परता दिखाते हुए भरोसे को और भी मजबूत किया।
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बड़ी राहत और सीधा ट्रांसफर
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने दोपहर 2:45 बजे खुद बटन दबाकर 1.26 करोड़ बहनों के खातों में कुल 1,859 करोड़ रुपये से ज्यादा की राशि ट्रांसफर की। आज की किस्त में सरकार न केवल हर बहन को 1,250 रुपये दे रही है, बल्कि रक्षाबंधन के मौके पर 250 रुपये का ‘शगुन’ भी जोड़ा गया है। इस तरह, प्रत्येक महिला के खाते में कुल 1,500 रुपये जमा किए गए। ट्रांसफर के तुरंत बाद लाभार्थी महिलाओं के मोबाइल पर बैंक से मैसेज भी पहुंच गया, जिससे व्यवस्था की पारदर्शिता उजागर हुई।
महिला सशक्तिकरण के लिए ऐतिहासिक योजना
लाड़ली बहन योजना मई 2023 में महिला सशक्तिकरण, आर्थिक आत्मनिर्भरता और स्वास्थ्य-कल्याण के लिए शुरू की गई थी। शुरुआत में महिलाओं को 1,000 रुपये प्रति माह दिए जाते थे, जिसे बाद में 1,250 रुपये कर दिया गया। सरकार का लक्ष्य है कि दीपावली 2025 के बाद हर महीने 1,500 रुपये और वर्ष 2028 तक 3,000 रुपये प्रतिमाह बहनों के खाते में भेजे जाएं। इस बढ़ी हुई सहायता से महिलाओं को रोजमर्रा के खर्च से लेकर बच्चों की पढ़ाई, स्वास्थ्य तथा परिवार के अन्य खर्च पूरे करने में मदद मिल रही है।
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पात्रता, पारदर्शिता और व्यवस्था
योजना का लाभ 21 से 60 वर्ष की उम्र वाली विवाहित, विधवा, तलाकशुदा या परित्यक्ता महिलाओं को मिलता है—जो मध्य प्रदेश की स्थायी निवासी हैं, जिनकी पारिवारिक सालाना आय 2.5 लाख रुपये से कम है, और परिवार में कोई सरकारी कर्मचारी या आयकरदाता नहीं है। परिवार के पास पांच एकड़ से कम कृषि भूमि और निजी चार पहिया वाहन होना चाहिए। महिलाओं के बैंक खाते आधार से लिंक होना आवश्यक है। आवेदन और भुगतान की स्थिति राज्य सरकार की ऑफिशियल वेबसाइट पर नाम या समग्र आईडी डालकर भी आसानी से चेक की जा सकती है|