Rewa medical college nursing students-रीवा मेडिकल कॉलेज में डॉक्टर अशरफ पर नर्सिंग छात्राओं ने गंभीर यौन उत्पीड़न आरोप लगाए!

रीवा के श्यामशाह मेडिकल कालेज में 80 नर्सिंग छात्राओं ने ईएनटी विभाग के सीनियर डॉक्टर मो अशरफ पर यौन उत्पीड़न और अभद्रता का आरोप लगाया है। इस मामले में कॉलेज प्रशासन ने मो अशरफ को सस्पेंड कर दिया है। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने भी उनकी सस्पेंशन की मांग की थी। छात्राओं में असुरक्षा की भावना बढ़ गई है और वे सुरक्षित माहौल की मांग कर रही हैं। प्रशासन ने जांच समिति गठित कर मामले की जांच शुरू कर दी है। दोषी पाए जाने पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी और छात्राओं की सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी।

रीवा के श्यामशाह मेडिकल कालेज में 80 नर्सिंग छात्राओं ने सीनियर डॉक्टर मो अशरफ पर यौन उत्पीड़न और अभद्रता का आरोप लगाया है। यह मामला कॉलेज में हड़कंप मचा गया है और छात्राओं ने इसकी शिकायत प्रशासन के सामने की है। आरोपित डॉक्टर ईएनटी विभाग में कार्यरत हैं।

डॉक्टर मो अशरफ को निलंबित किया गया

मामले की गंभीरता को देखते हुए कॉलेज प्रशासन ने मो अशरफ को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया है। यह कदम छात्राओं की सुरक्षा और मानसिक शांति के लिए उठाया गया है। प्रशासन ने कहा है कि मामले की जांच जारी है और दोषी पाए जाने पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

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अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की मांग

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) ने भी इस मामले में मो अशरफ को सस्पेंड करने की मांग की थी। संगठन ने कहा कि मेडिकल कालेज में छात्राओं के साथ इस तरह की घटनाएं बर्दाश्त नहीं की जाएंगी। ABVP ने प्रशासन से शीघ्र और पारदर्शी जांच कराने की अपील की है।

छात्राओं का समर्थन और सुरक्षा की आवश्यकता

मामले के बाद छात्राओं में भय और असुरक्षा की भावना बढ़ गई है। कई छात्राओं ने कहा है कि वे सुरक्षित माहौल में पढ़ाई करना चाहती हैं। इस घटना ने मेडिकल शिक्षा संस्थानों में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल उठाए हैं। विशेषज्ञ भी इस मुद्दे पर कड़े नियम और जागरूकता बढ़ाने की सलाह दे रहे हैं।

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जांच प्रक्रिया और आगे की कार्रवाई

प्रशासन ने मामले की जांच के लिए एक समिति गठित की है, जो सभी पक्षों से बयान ले रही है। जांच पूरी होने के बाद दोषी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। कॉलेज ने छात्राओं को भरोसा दिलाया है कि उनकी सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए कड़े कदम उठाए जाएंगे।

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